Birsa munda(Hindi, Paperback, Karampuri Premchand) | Zipri.in
Birsa munda(Hindi, Paperback, Karampuri Premchand)

Birsa munda(Hindi, Paperback, Karampuri Premchand)

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मसीहा बिरसा मुण्डा आखिर क्यों किसलिये किस साधन से अपनी लड़ाई लड़े उसका विवरण दिया गया है। बिरसा मुण्डा भगवान की जय नामक ग्रन्थ कुल पाँच अध्याय में विभक्त है। अध्याय 1 में अध्याय 1 आदिवासियों का समाजिक जीवन (क) कार्य (ख) भोजन (ग) कपड़ा (द) संस्कृति व देवी देवता एवं उसकी पूजा, अध्याय 2 में बिरसा मुण्डा के जीवन के पहले आदिवासी का जीवन क्या था, अध्याय 3 में आदिवासी समाज पर अत्याचार (अ) शारीरिक (ब) मानसिक (स) आर्थिक, अध्याय 2 में अध्याय 4 में बिरसा मुण्डा का जन्म एवं पालन पोषण एवं रिति-रिवाज अध्याय, 5 में बिरसा मुण्डा अपना जीवन आदिवासी समाज के अत्याचार समाप्त करने में लगाया, अध्याय 6 में बिरसा मुण्डा ने कौन-कौन सा आन्दोलन चलाया, अध्याय 3 में अध्याय 7 में आन्दोल का स्वरूप एवं प्रकार क्या-क्या था, अध्याय 8 में किसी समुदाय से आदिवासी समाज पीड़ित था, अध्याय 9 में कौन दोषी तत्कालिक अवधि में, अध्याय 4 में अध्याय 10 बिरसा मुण्डा आदिवासियों के मसीहा एवं प्रेरणा श्रोत एवं अध्यायवान बने, अध्याय 11 में आदिवासी समाज के कल्याण करते बिरसा मुण्डा का निर्वाण प्राप्त हुआ (क) गिरफ्तारी (ख) निर्वाण प्राप्ति, अध्याय 12 में बिरसा मुण्डा के आन्दोलन एवं प्रयास एवं अत्याचार के विरूद्ध, लड़ाई के बाद सरकार का आदिवासियों के प्रति रूख या परिणाम, अध्याय 13 में मिसलिनियस का विवरण