Kasht Nivaran Lal Kitab(Paperback, Dr. Jai Prakash Sharma Lal Dhagewale) | Zipri.in
Kasht Nivaran Lal Kitab(Paperback, Dr. Jai Prakash Sharma Lal Dhagewale)

Kasht Nivaran Lal Kitab(Paperback, Dr. Jai Prakash Sharma Lal Dhagewale)

Quick Overview

Rs.275 on FlipkartBuy
Product Price Comparison
सतयुग, त्रेतायुग व द्वापर युग में मनुष्य की आयु बहुत लम्बी होती थी। वह कठिन तप व मंत्र जाप करके देवी-देवताओं को प्रसन्न करके अपने कष्टों से बचने का रास्ता निकाल लेता था, परन्तु कलियुग में मनुष्य की आयु बहुत छोटी होती है और वह सब कार्य कल-पुर्जों की सहायता से करना चाहता है। इतने गतिशील विश्व में व्यक्ति अपने कार्यों व उपायों का शीघ्र असर चाहता है। शीघ्र असर की आशा करने वालों के लिए 'लाल किताब' एक वरदान साबित हुई है। इस किताब में दी गई हिदायतें व उपाय बहुत ही कारगर हैं। ज्योतिष, हस्तरेखा व वास्तु का ज्ञान कराने वाली यह पुस्तक अपने आप में अद्वितीय है। कुण्डली में दूषित ग्रहों के कारण जातक पर नौ प्रकार के ऋण होते हैं जिनके कारण जातक के जीवन का विकास अवरुद्ध हो जाता है क्योंकि दूषित ग्रहों के दोषयुक्त प्रभाव से शुभ ग्रह भी अनूकुल फल देना बंद कर देते हैं। अस्तु ऋण भार से जातक को मुक्त होना चाहिए ताकि शेष जीवन पर शुभ या अच्छे ग्रहों के अच्छे प्रभाव पड़कर कुण्डली के अनुसार शुभता प्राप्त हो सके। इस पुस्तक द्वारा आप जान सकते हैं कि कौन-कौन से ऋण-भार लेकर आपने जन्म लिया है और उनके सटीक उपाय क्या हैं। इन ऋणों के उपाय करने से ही जातक काफी हद तक सुखी हो सकता है। इन उपायों को प्राकृतिक चिकित्सा का नाम भी दिया जा सकता है। लाल किताब में वर्णित उपाय कुछ इस तरह काम करते हैं मानो कुछ रोगों का इलाज दादी मां के घरेलू नुस्खों द्वारा रसोई में सहज-सुलभ वस्तुओं द्वारा कर दिया गया हो। इस पुस्तक का प्रकाशन करते हुए हमें अपार हर्ष की प्राप्ति हो रही है। विश्व की पहली रंगीन पृष्ठों से युक्त 'कष्ट निवारक लाल किताब' आपका कल्याण करे, यही कामना है।